नई दिल्ली। राष्ट्रीय प्राणी उद्यान (चिड़ियाघर) को जल्द निजी हाथों या सोसाइटी के जिम्मे सौंपा जा सकता है। गुजरात के जामनगर स्थित वनतारा की तर्ज पर इसको नए रूप में विकसित करने की योजना पर काम चल रहा है। पर्यावरण एवं वन मंत्रालय और प्रधानमंत्री कार्यालय के अधिकारियों के बीच इसको लेकर बैठकें चल रही हैं। सूत्रों के मुताबिक इसे एक नामी कंपनी इसे अपने हाथों में ले सकती है। इसके लिए तैयारियां तेज हो गई हैं। यहां वन्यजीवों को आधुनिक तरीके से रखा जाएगा।
इसमें एयर-कंडीशन्ड मेडिकल यूनिट्स और मॉडर्न रिहैब केंद्र, जानवरों को जंगल जैसी आजादी दी जाएगी। खास बात है कि लुप्त होने के कगार पर पहुंच चुके बेजुबानों का रेस्क्यू कर इलाज भी दिया जाएगा। प्रबंधन से जुड़े एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि विशेषज्ञों से चिड़ियाघर का डिजाइन तैयार करवाया जा रहा है। सबसे पहले वन्यजीवों को जंगल के समान ही वातावरण देना, उनकी देखभाल करना, पर्यटकों को आकर्षित करना जैसी अनेक चीजों को ध्यान में रखकर कार्य योजना तैयार की जा रही है।
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