दिल्ली-एनसीआर से ग्रैप-3 हटा दिया गया है। दो दिन पहले (9 जनवरी) ही दिल्ली-एनसीआर में ग्रैप-3 को लागू किया गया था। राजधानी में हवा में सुधार आने के बाद वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (सीएक्यूएम) ने ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्ला (ग्रेप) तीन तत्काल प्रभाव से हटाने का फैसला लिया है। ऐसे में सभी निर्माण गतिविधियों पर प्रतिबंध, गैर-जरूरी प्रदूषण फैलाने वाले ट्रकों का प्रवेश और पांचवीं कक्षा तक हाइब्रिड मोड पर से भी रोक हट गई है। साथ ही, एनसीआर से आने वाली अंतरराज्य बसों को दिल्ली में प्रवेश की अनुमति मिल गई है। दिल्ली के बाहर रजिस्टर्ड बीएस-4 या डीजल के कमर्शियल वाहनों पर लगी रोक हट गई है। बता दें शुक्रवार को ग्रेप-तीन को लागू किया गया था।
ग्रैप तीन के तहत इन कार्य पर थी पाबंदी
-पूरे एनसीआर में धूल पैदा करने वाली व वायु प्रदूषण फैलाने वाली सीएंडडी गतिविधियों पर सख्त प्रतिबंध था।
-बोरिंग और ड्रिलिंग कार्यों सहित खुदाई और भराई के लिए मिट्टी का काम।
-पाइलिंग कार्य, सभी विध्वंस कार्य।
-ओपन ट्रेंच सिस्टम द्वारा सीवर लाइन, पानी की लाइन, ड्रेनेज और इलेक्ट्रिक केबलिंग आदि बिछाना।
-ईंट/चिनाई कार्य।
-प्रमुख वेल्डिंग और गैस-कटिंग कार्य, हालांकि, एमईपी (मैकेनिकल, इलेक्ट्रिकल और प्लंबिंग) कार्यों के लिए छोटी वेल्डिंग गतिविधियों की अनुमति दी जाएगी।
-सड़क निर्माण गतिविधियां और प्रमुख मरम्मत।
-परियोजना स्थलों के भीतर व बाहर कहीं भी सीमेंट, फ्लाई-ऐश, ईंट, रेत, पत्थर आदि जैसी धूल पैदा करने वाली सामग्रियों का स्थानांतरण, लोडिंग/अनलोडिंग।
-कच्ची सड़कों पर निर्माण सामग्री ले जाने वाले वाहनों की आवाजाही।
-विध्वंस अपशिष्ट का कोई भी परिवहन।
ग्रैप-3 में लोगों सीएक्यूएम ने थी यह सलाह
-कम दूरी के लिए साइकिल का करें इस्तेमाल या चलें पैदल।
-संभव होने पर कार पूलिंग का लें सहारा।
-सार्वजनिक परिवहन का करें इस्तेमाल।
-दफ्तर से इजाजत मिलने पर वर्क फ्रॉम होम पर चले जाएं।
-निर्माण कार्य समेत दूसरी प्रदूषण पैदा करने वाली गतिविधियों का रोकें।
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