विश्व अभिभावक दिवस: समय के साथ बदले परवरिश के तरीके… नैनी कर रही बच्चों की देखरेख, CCTV से हो रही निगरानी
अभिभावकों का मानना है कि परिवार की कमी काफी खलती है। घर से दूर बच्चों को पालना आसान काम नहीं है,लेकिन मजबूरी में उन्हें बाहर से सहयोग लेना पड़ता है। बच्चों के साथ कम समय व्यतीत कर पाते हैं।
ग्रेटर नोएडा वेस्ट में रहने वाले अनुज शर्मा और रिया शर्मा दो साल की बेटी के अभिभावक हैं। दोनों ही मल्टीनेशनल कंपनी में काम करते हैं। अनुज यूपी के लखनऊ से और दिप्ती बिहार के मुजफ्फपुर से आती हैं। दोनों अकेले रहते हैं। जब बच्ची हुई तो उसकी देखभाल करते हुए नौकरी से सामांजस्य बिठाना एक बड़ी चुनौती थी।
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