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Delhi: दिल्ली छावनी बोर्ड को HC का नोटिस, जलभराव और गंदगी पर प्रकाशित समाचार रिपोर्ट का स्वत: लिया संज्ञान

रिपोर्ट के अनुसार इलाके में तैनात राजपूताना रायफल्स के सैनिकों को बैरक से परेड ग्राउंड तक जाने के लिए बदबूदार और गंदे नाले से गुजरना पड़ता है।

दिल्ली हाईकोर्ट ने दिल्ली छावनी में जलभराव और गंदगी पर प्रकाशित मीडिया रिपोर्ट का स्वत: संज्ञान लेते हुए छावनी बोर्ड को नोटिस जारी किया है। रिपोर्ट के अनुसार इलाके में तैनात राजपूताना रायफल्स के सैनिकों को बैरक से परेड ग्राउंड तक जाने के लिए बदबूदार और गंदे नाले से गुजरना पड़ता है। कोर्ट ने दिल्ली कैंटोनमेंट बोर्ड को 29 मई तक रिपोर्ट दाखिल करने के निर्देश दिए हैं।

न्यायमूर्ति प्रतिभा एम. सिंह और मनमीत पीएस अरोड़ा की खंडपीठ ने 26 मई को अपने आदेश में कहा, यह कोर्ट एक मीडिया रिपोर्ट का संज्ञान लेता है, जिसमें बताया गया है कि राजपुताना राइफल्स के 3,000 से अधिक सैनिकों को अपने बैरक से परेड ग्राउंड तक जाने के लिए दिन में चार बार इस बदबूदार नाले से गुजरना पड़ता है। नाला कीचड़ और गंदगी से भरा होता है और कई जगहों पर कमर तक गहरा है।

कोर्ट ने यह आदेश दिल्ली में बारिश के बाद सड़कों, घरों और वकीलों के कार्यालयों में जलभराव की समस्या से संबंधित याचिकाओं की सुनवाई के दौरान पारित किया। खंडपीठ ने कहा, सैनिकों को इस नाले से होकर मार्च करने की स्थिति वास्तव में अस्वीकार्य है। रिपोर्ट में कहा गया है कि एक पुल के निर्माण के लिए अनुरोध किया गया था, लेकिन अभी तक इसका निर्माण नहीं हुआ है। 

मकोका मामले में नरेश बाल्यान की जमानत याचिका खारिज
राउज एवेन्यू ने छह माह से जेल में बंद आम आदमी पार्टी के पूर्व विधायक नरेश बाल्यान की जमानत याचिका मंगलवार को अदालत ने फिर खारिज कर दी है। यह मामला महाराष्ट्र संगठित अपराध नियंत्रण अधिनियम (मकोका) से जुड़ा हुआ है। यह उनकी दूसरी जमानत याचिका थी। बाल्यान को सुनवाई के दौरान वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये पेश किया गया था। अदालत ने तीन जून से आरोप तय करने की बहस प्रतिदिन चलाने का निर्देश दिया है। इस मामले में 4 दिसंबर, 2024 को गिरफ्तार किया गया था।

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